परबत्ती की दुर्गा प्रतिमा विसर्जित: शहर की प्रतिमाएं भी कतार में हुईं विदा

  • जयघोष से गूंजा पूरा जगदीशपुर – “अगले बरस तू जल्दी आना मां”


न्यूज स्कैन रिपाेर्टर, जगदीशपुर
विजयादशमी पर जगदीशपुर ने भक्ति, आस्था और भावनाओं का ऐसा संगम देखा कि हर कोई भावुक हो उठा। परबत्ती की दुर्गा प्रतिमा का विसर्जन शुक्रवार को भारी उमंग और आंसुओं के साथ हुआ। इसके बाद शहर की प्रतिमाएं भी कतार में एक-एक कर विदा की गईं। पूरा इलाका उस समय जयकारों और शंखनाद की गूंज से थर्रा उठा।
“अगले बरस तू जल्दी आना मां” के गगनभेदी नारों से वातावरण कांप उठा। ढोल-नगाड़ों की धुन, शंखध्वनि और भक्तिमय गीतों ने माहौल को अद्भुत बना दिया। श्रद्धालु नम आंखों से मां को विदाई देते रहे, लेकिन चेहरे पर अगली बार और भव्य आगमन की उम्मीद साफ झलक रही थी।

तीन दिनों तक मेला, भीड़ और भक्ति का संगम
जगदीशपुर, जमीन फुलवरिया, तगेपुर, नीमा और खुटाहा गांवों में तीन दिनों तक मेला का आयोजन रहा। मिठाई, खिलौने, श्रृंगार सामग्री से सजे बाजारों में हर किसी की भीड़ उमड़ी। बच्चों के लिए झूले और गुब्बारे आकर्षण का केंद्र बने रहे।
बारिश ने नवमी के दिन रौनक थोड़ी कम कर दी, लेकिन आस्था और श्रद्धा में कोई कमी नहीं आई।

सुरक्षा पर कड़ी निगरानी

इस बार मेला में प्रशासन की सतर्कता साफ दिखी। आपदा मित्र, पुलिस मित्र और स्वयंसेवकों की टीम तैनात रही। हर गली, हर चौक-चौराहे पर सुरक्षा व्यवस्था चुस्त दिखी।

मां की विदाई, पर यादें अमर

विसर्जन के साथ मां दुर्गा की नौ दिनों की आराधना समाप्त हो गई। लेकिन गांव की गलियों में अब भी मां की भक्ति गीतों और ढोल की गूंज सुनाई दे रही है। श्रद्धालुओं का कहना था – “मां की विदाई केवल प्रतीकात्मक है, उनका आशीर्वाद हमेशा हमारे साथ है।”

मौके पर जुटी भीड़ और नेतृत्व

विसर्जन और मेला आयोजन में कार्यकारी सचिव भारती भूषण झा, मुखिया प्रतिनिधि घनश्याम मंडल, कार्यकारी अध्यक्ष ओंकार मंडल उर्फ बीरबल समेत अमित कुमार, हिमांशु राजा, रूपेश कुमार, चंदन सिंह, सौरभ कुमार, इंदर यादव, गौतम कुमार, जितेंद्र यादव, प्रणब मिश्रा, मुकेश कुमार, नित्यानंद पोद्दार, प्रीतम कुमार, संदीप कुमार, रंजीत कुमार, सोनू कुमार, मोनू कुमार सहित सभी सदस्य मौजूद रहे।