मुंगेर। नौकरी के नाम पर लोगों से करीब ३० लाख रुपये की ठगी करने वाला आरोपी झारखण्ड से पकड़ा गया है। पूरबसराय थाना पुलिस ने उसे गिरफ्तार किया है। रौशन झा नाम का यह आरोपी जमशेदपुर के छोटा गोविंदपुर रेलवे फाटक पार दयाल सिटी का रहने वाला है। उसके खिलाफ वर्ष 2024 में मुंगेर के मुर्गियाचक वार्ड नंबर 14 निवासी मोहम्मद रब्बानी ने केस दर्ज कराया था। पूरबसराय थानाध्यक्ष सौरव कुमार ने बताया कि रौशन झा ने खुद को बीएचईएल कंपनी का प्रतिनिधि बताया। वर्ष 2022 में नौकरी दिलाने का झांसा देकर प्रचार किया। उसके झांसे में आकर रब्बानी समेत आठ लोगों ने आवेदन दिया। रौशन झा और उसके साथी गौर चंद्र डे को 2022 और 2023 में कुल 29 लाख 83 हजार रुपए दिए गए। यह रकम मुंगेर के बैंक खाते से पे-फोन और आरटीजीएस के जरिए भेजी गई। गौर चंद्र डे, जमशेदपुर के गोविंदपुर पूर्वी स्थित जेमको बस्ती का निवासी है।


आरोपी रौशन झा ने कहा था कि यह रकम सिक्योरिटी मनी के रूप में जमा होगी। नौकरी लगने के बाद वापस कर दी जाएगी। इसके बाद उसने फिर आठों लोगों से मुलाकात की। कहा कि कंपनी में रजिस्ट्रेशन के लिए पांच लाख रुपए नगद देने होंगे। सभी ने मिलकर उसे पांच लाख रुपए और दे दिए। काफी समय बीतने के बाद भी नौकरी नहीं मिली। तब सभी को शक हुआ। जांच में पता चला कि रौशन झा और गौर चंद्र डे बीएचईएल के अधिकृत एजेंट नहीं हैं। दोनों ने फर्जी दस्तावेज बनाकर खुद को अधिकारी बताया और ठगी की।
नौकरी नहीं मिलने पर लोगों ने पैसे मांगे तो देने से किया इंकार
रब्बानी का आरोप है कि ये लोग नौकरी दिलाने के नाम पर बड़ा गिरोह चलाते हैं। भोले-भाले लोगों को ठगते हैं और फिर ठिकाना बदल लेते हैं। यह ठगी 21 मई 2022 से 23 फरवरी 2023 के बीच की गई। रब्बानी ने दोनों के खिलाफ फर्जी दस्तावेज बनाने और ठगी के आरोप में एफआईआर दर्ज करने की मांग की थी। रब्बानी ने बताया कि जब दोनों पर दबाव बनाया गया तो रौशन झा ने इंडसइंड बैंक के तीन चेक दिए। पहला चेक दो लाख रुपए का, दूसरा 13 लाख 53 हजार रुपए का और तीसरा 14 लाख रुपए का था। बैंक में चेक लगाने पर कोई भुगतान नहीं हुआ। जब पैसे लौटाने को कहा गया तो दोनों ने मना कर दिया।