Ground Report : दर्जन पंचायत पानी में घिरी; निजी नाव ही सहारा बनी, रोजमर्रा की ज़िंदगी बेहाल

  • खगड़िया जिले के परबत्ता प्रखंड में तीन छोड़ पर बहती है गंगा, दियारा हो चूका है जलमग्न, अब दर्जनों गांव पर मंडरा रहा है खतरा

न्यूज स्कैन ब्यूरो, खगड़िया / परबत्ता

विगत एक सप्ताह से गंगा नदी में आई उफान से खगड़िया जिले का परबत्ता प्रखंड घिर चुका है। यहां का दियारा इलाका तो पहले ही जलमग्न हो चुका है। अब गंगा का पानी तेजी से बांध के बाहर के गावों की ओर अपनी रुख कर चुका है। मतलब करीब एक पंचायत ऐसे हैं जिनके दर्जनो गांव पर बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। प्रखंड स्थित जीएन बांध के बाहर कई गांव ऐसे हैं जो टापू में तब्दील होता जा रहा है। पशुपालक दियारा छोड़ अपनी गांव पहुंच चुके हैं। जहां उनके सामने पशुओं के चारे की समस्या उतपन्न हो रही है। बावजूद इसके इलाके के लोगों का आरोप है कि उनकी सूधी लेने वाला कोई नहीं है। रोजमर्रा की जरुरतों को पूरा करने के लिए लोग निजी नाव संचालकों के भरोसे हैं। लोगों का कहना है कि उनको न तो कोई अधिकारी देखने आए न ही कोई सरकारी नाव ही उपलब्ध कराया जा सका है।

करीब एक दर्जन गांव पर मंडरा रहा है खतरा

गंगा नदी में पानी के जलस्तर बढ़ने के बाद जहां परबत्ता प्रखंड के दियारा इलाके पूरी तरह जलमग्न हो चुके हैं, वहीं करीब एक दर्जन गांव ऐसे हैं जिनपर खतरा मंडरा रहा है। कई गांव में तो पानी प्रवेश भी हो रहा है। इन गांवों में प्रमुख रुप से सौढ़ उत्तरी, सौढ़ दक्षिणी, भरसो, लगार, तेमथा करारी, माधवपुर, कवेला आदि पंचायत शामिल है।

खाद्यान्न एवं पशु चारा की किल्लत

करीब करीब बाढ़ से घिर चुके परबत्ता प्रखंड के इन गांवों में अब लोगों को खाद्यान्न के साथ उनके पशु के चारे की भी किल्लत हो रही है। लोग अपनी जरुरत पूरी करने के लिए मक्का को आधे दाम में बेचने को बेवस हैं। सबसे ज्यादा परेशानी भरसो पंचायत के सलारपुर गांव, सौढ़ दक्षिणी पंचायत के भरतखंड ड्योढ़ी तथा विकासनगर एवं माधवपुर पंचायत का मुरादपुर माधवपुर तथा विष्णुपुर गांव के लोगों को हो रही है। इन जगहों पर बाढ़ के पानी के कारण लोगों का घरों से निकलना मुश्किल हो रहा है। इनलोगों ने प्रशासन से तत्काल नाव उपलब्ध कराने की मांग की है।